28/11/15 को संध्या 05:30-08:30 विवेकानंद केंद्र कन्याकुमारी के बिलासपुर इकाई द्वारा "समिधा वर्ग" का आयोजन किया गया था। जिसमें अमरकंटक तथा पेंड्रा वाले स्वामी जी का सानिध्य प्राप्त हुआ, साथ ही विवेकानंद केंद्र मध्य प्रांत संगठन भंवर सिंह राजपूत जी का उद्बोधन हुआ।
Samidha program at Bhilwara on 15-11-2015. Chief guest was Sri Hanumanth raoji, Treasurer of Vivekananda Kendra and Bagwandasji, Prant Pramukh, Rajasthan
20-11-2015 to 29-11-2015, books stall was held in book fair at dibrugrah.
Kendra Varga in Jamdeshpur.
Samidha at mysore : 61 karyakartas attended.
Drawing Compitation of Samskar Varga children of Indira nagar vistar, Bangluru.
Vivekananda Kendra raipur organized sanskar varga (Cultural Classes) training program. There were session on geet, games and stories part of the program. In this program also delivered the session on the importance of Samskar Varga in current time.
Vivekananda Kendra Raipur organised yoga satra at Deendayal Uppadhyay Nagar's Greenland garden from 25/10/2015 to 03/11/2015.Total 15 participant took part in the yoga session.
विवेकानन्द केन्द्र एवं सेन्ट्रल बैंक ओफ इण्डिया द्वारा प्रधानमंत्री स्वच्छता अभियान के अन्तर्गत आदर्श विधा मंदिर जहाजपुर में बनने वाले शौचालयो का भुमि पुजन (26-10-2015)
विवेकानन्द केन्द्र कन्याकुमारी शाखा रायपुर के योग वर्ग के कार्यकर्ताओ द्वारा श्री कृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर मटकीफोड़ का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में खेल एवं भजन के साथ श्री कृष्ण जन्माष्टमी के महत्व पर श्री अवधेश सिंह द्वारा प्रकाश डाल
विवेकानन्द केन्द्र कन्याकुमारी शाखा रायपुर द्वारा स्थानीय महाराष्ट्र मंडल रायपुर में विश्व बंधुत्व दिवस का कार्यक्रम मनाया गया। इस कार्यक्रम में मुख्य वक्ता के रूप में श्री रूपनारायण सिन्हा ( प्रांत मंत्री, विश्व हिन्दू पर
विवेकानंद केंद्र, कन्याकुमारी शाखा बिलासपुर द्वारा विश्व बंधुत्व दिवस शासकीय इंजीनियरिंग महाविद्यालय में मनाया गया, जिसमें मुख्य वक्ता श्री ओम प्रकाश वर्मा जी थे तथा अध्यक्षता कॉलेज के प्राचार्य महोदय किये। ईसी कार्
३१/०७/२०१५ को विवेकानंद केंद्र के बिलासपुर में गुरु पूर्णिमा उत्सव बड़े ही उत्साह पूर्वक मनाया गया .विवेकानन्द केंद्र की गौरवमई परम्परा के अनुसार उत्सव का प्रारम्भ थी ओमकार के साथ हुआ, ओमकार की महत्ता बताने वाला गीत हुआ। कार्यकर्म में आमंत्