स्वामी विवेकानंद जी के जन्मदिवस पर विवेकानंद केंद्र कन्याकुमारी शाखा पानीपत की ओर से 12 जनवरी 2020 को एक विचार गोष्ठी व कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया ....
स्वामी विवेकानंद जी के जन्मदिवस पर विवेकानंद केंद्र कन्याकुमारी शाखा पानीपत की ओर से 12 जनवरी 2020 को एक विचार गोष्ठी व कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया ....
स्वामी विवेकानंद जयंती के उपलक्ष पर 11 जनवरी 2020 को विवेकानंद केंद्र कन्याकुमारी शाखा गुरुग्राम के द्वारा द्रोणाचार्य राजकीय महाविद्यालय में भाषण प्रतियोगिता का आयोजन किया गया जिसमें सभी विद्यार्थियों ने बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया जिसमें कुल संख्या 104थी ।
Vivekananda Kendra( kanyakumari) Sonipat organized Speech-Cum-Declamation competition on the occasion of "Samarth Bharat Parv" in GVM Girls College, Sonipat on 11th Jan 2020, Wherein, over 100 young and inspired minds participated.
“Arise, awake and stop not till the goal is reached” are few of many inspirational words which are lived and preached by Swamiji and till now carry the power to lead mankind. With this inspiration, Janakpuri Nagar, in association with RWA Govt. Press colony, celebrated the 157th Birth Anniversary of Swami Vivekananda, at Swami Vivekananda Park, Mayapuri, New Delhi.
"समर्थ भारत पर्व" के उपलक्ष्य में असम के आनंदालय प्रकल्प के अंतर्गत विभिन्न चाय बागानों में "भजन संध्या एवं स्वामी विवेकानन्द जयन्ती" कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जैसा कि हमे ज्ञात है कि शिक्षा, स्वास्थ्य एवं संस्कृति के क्षेत्र में 2004 से असम में सेवारत विवेकानन्द केन्द्र का 'आनंदालय' प्रकल्प चाय बागानों एवं ग्रामीण बस्तियों में निवास कर रहें विभिन्न जनजातियों के सर्वागींण विकास के लिए संचालित किया जाता है।
धार, प्रकृति का रक्षण, सभी की जिम्मेदारी है तथा यह कार्य जैविक कृषि उपायों से ही संभव है। यह उद्गार प्रसिद्ध कृषि वैज्ञानिक अजित केलकर ने यहाँ विवेकानंद केन्द्र, कन्याकुमारी शाखा धार की व्याख्यानमाला में व्यक्त किये। राष्ट्रीय युवा दिवस पर श्री केलकर ने "आधात्मक प्रेरित सेवा एवं वैदिक कृषि चिंतन" विषय पर उद्बोधन देते हुए कहा कि प्रकृति का ज्ञान सरल व सहज है।
भगवान श्रीकृष्ण ने कुरुक्षेत्र की युद्धभूमि में अर्जुन के सम्मुख जो ज्ञान की गंगा बहाई, वह वाणी श्रीमद्भगवद् गीता के रूप में सर्वत्र उपलब्ध है। यह गीता माँ ही है जो हमारा पोषण करती है, हमें ध्येयमार्ग पर चलने के लिए प्रेरित करती है, उस योग्य बनाती है। इसलिए आचार्य विनोबा भावे ने गीता को "माऊली" अर्थात् माता कहा है।
नगर प्रमुख अखिल शर्मा ने बताया कि इस अवसर पर गीता पर आधारित प्रश्नोत्तरी का संचालन महर्षि दयानन्द सरस्वती विश्वविद्यालय, अजमेर के योग विभाग के डाॅ0 लारा शर्मा ने किया।
भगवत गीता का पारायण युवावस्था से ही प्रारंभ होना चाहिए। गीता में जीवन जीने की कला भगवान श्रीकृष्ण ने बताई है, और यह हर व्यक्ति को अपने युवा काल में ही ज्ञात होनी चाहिए। भगवत गीता में आज के व्यक्तिगत और सामाजिक हर समस्या का समाधान है।
Sadhana Divas was held at Patel Nagar Vistaar, Janakpuri Nagar, Uttar Prant. The brief of activities is as follows: